समाचार लालगंज, बस्ती विकास खण्ड कुदरहा के लालगंज में कुआनो और मनोरमा नदी के संगम तट पर हर वर्ष की तरह इस बार भी मेले की तैयारियां पूरी तरह से पूर्ण हो चुकी है। मनोरमा नदी संगम तट व मेला परिसर की साफ सफाई की गईं हैं, सुरक्षा हेतु पूरी तरह से बस्ती पुलिस अलर्ट है
मान्यता है कि लालगंज के मनवर-कुआनो संगम तट पर पौराणिक काल में उद्यालक मुनि का आश्रम हुआ करता था। नदी तट पर ही बाबा मोक्षेश्वर नाथ का विशाल मंदिर है। कहा जाता हैं कि यहाँ उद्यालक मुनि की तपस्या से प्रसन्न होकर भगवान शिव यहां प्रकट हुए थे। यह भी कथा प्रचलित है कि वन गमन के समय भगवान राम ने यहां रात्रि विश्राम किया था। जिस दिन भगवान राम ने विश्राम किया था वह दिन चैत्र मास की चर्तुदशी थी। दूसरे दिन पूर्णिमा को राम ने यहां स्नान किया था तथा भगवान शिव का पूजन-अर्चन किया था। चूंकि प्रभु राम ने भोजन में लिट्टी चोखा ग्रहण किया था इसलिए श्रद्धालु यहां लिट्टी चोखा प्रसाद के रूप में ग्रहण करते हैं। तब से मनोरमा संगम तट पर मेला का परंपरा कायम है, मौसम को देखते हुए दूर दराज से आए व्यवसाईयों ने चिंता व्यक्त करते हुए ने बताया कि बिन मौसम बारिश मेले का रंग कहीं फीका न कर दे, मेले में ब्रेक डांस झूला, छोटे बच्चों का झूला, जंपिंग झूला, मनोरंजन के लिए इलेक्ट्रिक ट्रेन, श्रृंगार की दुकान लोहा लकड़ी समेत तमाम दुकानें पूरी तरह सज चुकी हैं मेला आज से 17 अप्रैल 2025 तक चलेगा
प्रधान प्रतिनिधि लालगंज वीरेंद्र कुमार उर्फ़ बबलू ने बताया कि मेले में दुकाने सज गई मेला परिसर की साफ सफाई पूर्ण करवा दी गई है सभी दुकानदारों को दुकानदारी करने के लिए जमीन आवंटित कर दी गई है ॥